बिहार में 50 साल से अधिक सरकारी कर्मचारियों को जबरन किया जाएगा रिटायर, नीतीश सरकार का आदेश जारी

PATNA : 50 पार इंजीनियरों को रिटायर करने की तैयारी : भवन निर्माण विभाग ने काम में लापरवाह, बीमार या अत्यधिक खराब प्रदर्शन वाले 50 पार के इंजीनियरों को अनिवार्य सेवानिवृत्ति (सीआरएस) देने की कवायद शुरू कर दी। पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के तहत बुधवार को भवन निर्माण के प्रधान सचिव चंचल कुमार ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग (वीसी) से इस मसले पर विभागीय अधिकारियों के साथ बैठक की। हालांकि बैठक बेनतीजा रही।

भवन निर्माण विभाग : जिनका रिकॉर्ड खराब, उन्हें हटाया जाएगा
विभाग ने एक जून तक ऐसे इंजीनियरों की सूची मांगी थी, जो 50 पार कर चुके हैं और उनका कार्यकलाप अत्यधिक खराब है। मगर कुछेक जिलों से अब तक दो-चार नाम ही आए हैं। वीसी में ऐसे इंजीनियरों की पूरी सूची मांगी गई। अंतिम रिपोर्ट आने के बाद विभाग ऐसे कनीय अभियंता, सहायक अभियंता और कार्यपालक अभियंताओं पर फैसला लेगा, जिनका कार्यकलाप हाल के वर्षों में निराशाजनक रहा है। बैठक में शामिल एक वरीय अधिकारी के अनुसार, सरकार के निर्देश पर इस पर काम शुरू हुआ है। विभाग में कई ऐसे इंजीनियर हैं, जो रिटायरमेंट के करीब पहुंच चुके हैं और वे काफी बीमार चल रहे हैं। किसी को मानसिक तो किसी को शारीरिक परेशानी है। कुछ ऐसे भी हैं जो शारीरिक रूप से तो स्वस्थ हैं पर उनका विभागीय कार्यकलाप काफी निराशाजनक है। ऐसे लोगों की सूची तैयार कर कैबिनेट से मंजूरी लेकर उन्हें सीआरएस दी जाएगी।

29 मई को पत्र हुआ था जारी 29 मई को भवन निर्माण के विशेष सचिव ने इस पत्र जारी कर वैसे कनीय से लेकर कार्यपालक अभियंताओं की सूची मांगी थीै, जिनकी उम्र 50 से अधिक है और उनका कार्यकलाप अत्यधिक खराब है। विभाग से रिपोर्ट में इसका भी उल्लेख करने को कहा है कि इंजीनियरों को जबरन रिटायर करने से विभाग पर क्या असर होगा। वैसे इंजीनियरों की भी सूची मांगी गई है जिन पर भ्रष्टाचार या अन्य तरह का मुकदमा, जुर्माना लगाया गया है।

जबरन सेवानिवृत्ति का अभियंता संघ ने जताई नाराजगी पटना। इंजीनियरों को जबरन रिटायर किए जाने के निर्णय पर बिहार अभियंत्रण सेवा संघ (बेसा) ने नाराजगी जताई है। कहा कि 60 साल से अधिक उम्र वालों को सेवा में संविदा पर रखा जा रहा है और 50 पार वालों को जबरन रिटायर किया जा रहा है। यह कैसी नीति है। संघ के अध्यक्ष जनार्दन प्रसाद सिंह, उपाध्यक्ष अरुण कुमार, महासचिव विश्वबंधु राजीव रंजन, चाणक्य सिंह, शशांक शेखर, नवीन कुमार व डॉ. सुनील चौधरी ने बैठक कर कहा कि सरकार इंजीनियरों के साथ सौतेला व्यवहार न करे। बिना प्रोन्नति के वर्षों से एक ही पद पर काम कर रहे इंजीनियरों को जबरन हटाना उचित नहीं है। विभागीय मंत्री व सरकार के आलाधिकारी इस मसले पर पुनर्विचार करें।

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