GAYA NEWS (Bihar’s Shivam’s friendship is saluted, disabled Raushan on his back to take the matric examination) : एक समय था जब हिंदी सिनेमा में दोस्ती को लेकर एक से एक गाने बनाए गए हैं. उनमें से कुछ गीत तो ऐसे हैं जिसे आज भी लोग बहुत प्यार से सुनते हैं. चाहे शोले फिल्म का वह गीत हो ‘ये दोस्ती हम नहीं तोड़ेंगे’, या चाहे याराना फिल्म का वह गीत हो ‘तेरे जैसा यार कहां कहां ऐसा याराना’. पुरानी दोस्ती फिल्म को कौन भूल सकता है जिसमें एक दोस्त अंधा होता है तो दूसरा लंगड़ा. कुछ इसी तरह इन दिनों बिहार के दो दोस्तों की कहानी जबरदस्त वायरल हो रही है.
एक का नाम शिवम है तो दूसरे का नाम रोशन है. दोनों इस साल बिहार शिक्षा विभाग द्वारा आयोजित मैट्रिक परीक्षा में शामिल हो रहे हैं. रोशन दिव्यांग है अर्थात पैर से चल नहीं पता है, इसीलिए हर दिन शिवम अपने दोस्त रोशन को पीठ पर बिठाकर परीक्षा केंद्र पर परीक्षा दिलाने लाता है. इसी बीच किसी ने उन दोनों की फोटो क्लिक कर सोशल मीडिया पर डाल दिया और देखते ही देखते यह दोनों लड़के वायरल हो गए.
ताजा अपडेट के अनुसार यह दोनों लड़के बिहार के गया जिले के वजीरगंज प्रखंड के मझौली गांव के रहने वाले हैं. गया कॉलेज में इनका परीक्षा केंद्र है. दोनों दोस्त वजीरगंज प्रखंड के हाई स्कूल सकदास नवादा के छात्र हैं.
डेली बिहार डॉट कॉम से बात करने के दौरान इन दोनों ने बताया कि हम लोगों का बचपन एक साथ बिता है, हम एक साथ खेलते थे और एक साथ ही पढ़ाई करते थे. हम लोग एक दूसरे के लिए बने हैं. यही कारण था कि जब मैट्रिक परीक्षा आरंभ हुआ तो रोशन के पिता को शिवम ने शहर में आने से रोक दिया. शिवम का कहना था चाचा जी मैं हूं ना आप चिंता क्यों करते हैं. रोशन को परीक्षा दिलाने की जिम्मेवारी मेरी है.
परीक्षा आरंभ होने से कुछ दिन पहले रोशन और शिवम ने गया जिले के भूसंडा में किराए पर एक रूम ले लिया और दोनों रहने लगे. इन दोनों का कहना है की परीक्षा केंद्र तक यह दोनों किसी की मदद से मोटरसाइकिल पर आते हैं और मुख्य गेट से शिवम उसे पीठ पर बैठकर परीक्षा हॉल में पहुंचाता है.