पैक्स अध्यक्ष बनेंगे पेट्रोल पंप के मालिक, CM नीतीश के आदेश के बाद सहकारिता विभाग ने लिया बड़ा फैसला

सहकारिता विभाग ने राज्य के इच्छुक पैक्सों से आवेदन करने को कहा- बिहार के पैक्सों में खुलेंगे पेट्रोल पंप, 27 तक कर सकेंगे आवेदन

बिहार के पैक्स जल्द ही पेट्रोल पंप मालिक बनेंगे। इसकी प्रक्रिया तेज हो गई है। सहकारिता विभाग ने पंप खोलने के इच्छुक पैक्सों से 27 सितंबर तक आवेदन करने को कहा है।

विभाग की ओर से सभी जिला सहकारिता पदाधिकारियों को भेजे गए निर्देश में कहा गया है कि इच्छुक और मानक पूरा करने वाले पैक्सों को आवेदन के लिए प्रोत्साहित करें। पैक्स उन्हीं जगहों के लिए आवेदन कर सकते हैं, जहां पेट्रोलियम कंपनियों की ओर से रिटेल आउटलेट की रिक्तियां निकाली गई हैं। रिटेल डीलरशिप के लिए पैक्सों को स्वतंत्रता सेनानियों वाली श्रेणी यानी सीसी-2 में रखा गया है। इसी श्रेणी के हिसाब से पैक्सों को पंप के नियमों में छूट दी जाएगी।

रिक्तियों का विवरण पेट्रोलियम कंपनियों के पोर्टल ( www. petrolpumpdealerchayan. in/ petrol-2023) पर मौजूद है। इंडियन ऑयल, भारत पेट्रोलियम और हिन्दुस्तान पेट्रोलियम की रिक्तियां अलग-अलग हैं। सहकारिता विभाग के सूत्रों के अनुसार राज्य के कई जिलों के प्राथमिक कृषि ऋण समितियों (पैक्स) ने पंप खोलने में रुचि दिखाई है। इसमें सीतामढ़ी, गोपालगंज, गया, पटना आदि जिलों के पैक्स हैं। अन्य जिलों से भी प्रस्ताव आ रहे हैं। राज्य में वर्तमान में 8463 पैक्स हैं।

मानकों का करना होगा पालन

पेट्रोल पंप खोलने के लिए पैक्सों को कई मानकों का पालन करना होगा। पैक्सों के पास पेट्रोलियम कंपनियों की जरूरतों के अनुसार सड़क किनारे निर्धारित जमीन होनी चाहिए। पैक्स पट्टे (लीज) पर भी जमीन ले सकते हैं। इसके अलावा पैक्स के पास बड़ी पूंजी का होना भी जरूरी है। नियमित रिटेल और ग्रामीण रिटेल खोलने के लिए अलग-अलग मानक हैं। नियमित रिटेल आउटलेट राष्ट्रीय और राज्य राजमार्गों पर जबकि ग्रामीण रिटेल आउटलेट ग्रामीण क्षेत्रों में होते हैं।

एफपीओ से बढ़ रही पूंजी

राज्य के कई पैक्सों में किसान उत्पादक संगठनों (एफपीओ) का भी गठन किया जा रहा है। ऐसे पैक्सों को पूंजीगत निवेश का मौका मिला है। इन्हीं पैक्सों ने पंप खोलने में रुचि भी दिखाई है। इसके अलावा सहकारी बैंकों से भी पंप खोलने के लिए ऋण दिए जाने का प्रस्ताव है। पूंजीगत निवेश के लिए पैक्सों का ऑडिट जरूरी है। वैसे पैक्स ही इसमें आवेदन कर सकते हैं।

बढ़ रहा कारोबारी दायरा

पैक्सों का कारोबारी दायरा बढ़ाने के लिए यह निर्णय लिया गया है। राज्य के पैक्सों का कंप्यूटराइजेशन हो रहा है। वह कॉमन सर्विस सेंटर खोले जा रहे हैं। राशन दुकान, खाद दुकान सहित सभी तरह के कारोबार करने को कहा जा रहा है। एफपीओ का गठन कर खेती से संबंधित बाजार को भी बढ़ावा दिया जा रहा है। पैक्सों को सहकारी बैंकों की शाखा की तरह विकसित किए जाने का भी लक्ष्य है।

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