बिहार पुलिस की दादागिरी, दारोगा की नौकरी के लिए धरना देने वाले छात्रों को जानवरों की तरह पी.टा

दारोगा बहाली की पीटी के रिजल्ट में धांधली और पेपर लीक का अाराेप लगाते हुए इसकी सीबीआई जांच कराने की मांग को लेकर सैकड़ाें अभ्यर्थियों ने बुधवार को डाकबंगला चौराहा को करीब डेढ़ घंटे तक जाम रखा। दिन के करीब सवा एक बजे से पौने दो बजे तक सैकड़ों अभ्यर्थी झंडा, बैनर व हाथों में तख्ती लिए वहीं पर बैठे रहे और परीक्षा रद्द करने के लिए नारेबाजी करते रहे। वे मुख्यमंत्री आवास की ओर जाना चाह रहे थे। डाकबंगला चौराहे पर बैरिकेडिंग कर दी गई थी, पर वे आगे बढ़ने की काेशिश कर रहे थे। पुलिस व प्रशासन की टीम उन्हें बार-बार प्रतिबंधित क्षेत्र में प्रवेश नहीं करने काे कह रही थी लेकिन इसका उनपर कोई असर नहीं पड़ रहा था।

हालात बेकाबू होता देख पुलिस ने प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज कर दिया। लाठीचार्ज होते ही वहां भगदड़ मच गई। अभ्यर्थी गिरते-पड़ते इधर-उधर भागने लगे। पुलिस ने सबों को वहां से खदेड़ दिया। लाठीचार्ज में करीब 10 अभ्यर्थी घायल हो गए। इस दौरान तीन प्रदर्शनकारियों को पकड़ा गया। कोतवाली के थानेदार रामशंकर सिंह ने बताया कि 3 नामजद और करीब 150 अज्ञात पर केस दर्ज किया गया है। अभ्यर्थियाें का यह जुलूस साइंस कॉलेज से निकला था। यह मुसल्लहपुर, बारीपथ, जेपी गोलंबर व एग्जीबिशन रोड होते डाकबंगला चौराहा पहुंच गया। हं/गामे की आशंका को देखते हुए पुलिस उनके पीछे-पीछे चल रही थी। जिन रूटों से वे गुजरे, वहां जाम लग गया। सभी डाकबंगला चौराहा पर जमा हुए और फिर प्रदर्शन करने लगे। लगभग डेढ़ घंटे तक डाकबंगला जाम रहने से राजधानी की ट्रैफिक व्यवस्था पूरी तरह चरमरा गई। डाकबंगला से पटना जंक्शन, बेली रोड, फ्रेजर रोड, एग्जीबिशन रोड के साथ ही इससे सटे मार्गों पर वाहनों की लंबी कतार लग गई।

4 फरवरी को भी इन अभ्यर्थियों ने प्रदर्शन किया था। उस दफे जेपी गोलंबर पर छात्रों को रोका गया और फिर हालात बेकाबू होने के बाद पुलिस ने लाठीचार्ज कर दिया था। आंसू गैस, वाटन केनन से पानी की बौछार भी की थी। बाद में छात्रों ने पुलिस ने जमकर पथराव व वाहनों में तोड़फोड़ करने के साथ बैरिकेडिंग को हटाकर अफरातफरी मचा दी थी। लाठीचार्ज में जहां चार छात्र जख्मी हो गए थे वहीं पथराव में दारोगा समेत चार पुलिसकर्मी घायल हो गए थे। गांधी मैदान थाना की पुलिस ने सात छात्रों को गिरफ्तार कर जेल भेजा था। 200 अज्ञात पर केस हुआ था।

अभ्यर्थियाें का कहना है कि 22 दिसंबर 2019 को दारोगा बहाली की पीटी का प्रश्नपत्र परीक्षा शुरू होने से पहले ही सोशल साइट्स पर वायरल था। कई परीक्षा केंद्रों पर धांधली हुई। पर्चा लीक होने का साक्ष्य 31 दिसंबर व 7 जनवरी को बीपीएसएससी को दिया। बीपीएसएससी के ओएसडी ने कहा था कि इसकी जांच कराएंगे लेकिन 28 जनवरी को रिजल्ट जारी कर दिया गया। उनका कहना है कि इसकी सीबीआई से जांच हो। अब बीपीएससी व मुख्यमंत्री आवास का घेराव करेंगे। जब तक परीक्षा रद्द नहीं होती, आंदोलन व प्रदर्शन जारी रहेगा।

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