दिल्ली का चिड़ियाघर बनेगा ‘वनतारा’ जैसा: जानवरों को मिलेगा जंगल जैसा माहौल, इलाज और आराम की बेहतर सुविधा

By Rajveer

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वनतारा

वनतारा: दिल्ली का चिड़ियाघर अब पहले जैसा नहीं रहेगा। सरकार ने इसे पूरी तरह से बदलने का फैसला किया है। अब यह चिड़ियाघर गांव की तरह साधारण नहीं, बल्कि किसी शहर के शानदार अस्पताल और पार्क जैसा होगा — खासकर जानवरों के लिए।

सरकार की योजना है कि दिल्ली के इस पुराने चिड़ियाघर को जामनगर के ‘वनतारा’ की तरह नया रूप दिया जाए। इसका मतलब ये हुआ कि यहां जानवरों को अब छोटे पिंजरे नहीं, बल्कि खुला और हरियाली से भरा जंगल जैसा वातावरण मिलेगा।

जानवरों के लिए बनेगी वर्ल्ड क्लास व्यवस्था

सरकार की इस योजना में सबसे खास बात ये है कि जानवरों की देखभाल किसी आम तरीके से नहीं, बल्कि वर्ल्ड क्लास यानी दुनियाभर में जैसी सुविधाएं होती हैं, वैसी दी जाएंगी। जानवरों का इलाज एयर कंडीशंड (एसी) यूनिट में होगा, और उन्हें बेहतर खाना, पानी और आराम की सुविधा मिलेगी।

सूत्रों के मुताबिक, सरकार जल्द ही इसे किसी प्राइवेट कंपनी को देने की तैयारी में है। बातचीत चल रही है कि देश की एक बड़ी और भरोसेमंद कंपनी इसे संभालेगी, जो जानवरों की सेहत, सफाई और सुरक्षा पर ध्यान देगी।

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बीमार और लुप्त हो रहे जानवरों का इलाज

नई योजना में यह भी तय किया गया है कि जो जानवर बीमार हैं, घायल हैं या जिनकी प्रजातियां अब बहुत कम बची हैं, उन्हें यहां लाकर इलाज किया जाएगा। ऐसे जानवरों के लिए अलग से मेडिकल यूनिट और रिहैब सेंटर भी होंगे। यानी जो जानवर जंगल में अकेले नहीं जी सकते, उन्हें यहां पर संभाल कर रखा जाएगा।

एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि इस चिड़ियाघर के लिए खास डिजाइन बनवाया जा रहा है। इस डिजाइन में इस बात का पूरा ख्याल रखा जाएगा कि जानवरों को पिंजरे में बंद महसूस न हो, बल्कि उन्हें ऐसा लगे जैसे वे अपने ही जंगल में घूम रहे हों। साथ ही, पर्यटक भी यहां आकर जानवरों को उनके असली रूप में देख सकें — बिना डर और तकलीफ के।

‘वनतारा’ क्या है और क्यों उसका जिक्र हो रहा है?

vantara

‘वनतारा’ एक खास जगह है जो गुजरात के जामनगर में स्थित है। इसे अनंत अंबानी ने बनाया है और यह रिलायंस इंडस्ट्रीज और रिलायंस फाउंडेशन की मदद से चलता है। यह जगह 3000 एकड़ में फैली है और वहां घायल, बीमार और लुप्तप्राय (यानि जिनका अस्तित्व खतरे में है) जानवरों की देखभाल की जाती है। वहां जानवरों को एक ऐसा माहौल दिया गया है जैसे वे जंगल में हों — खुला, हरा-भरा और सुरक्षित।

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क्या बदलेगा आम लोगों के लिए?

अब जब दिल्ली का चिड़ियाघर ‘वनतारा’ की तर्ज पर बनेगा, तो यहां आने वाले लोगों को भी बिल्कुल नया अनुभव मिलेगा। लोग जानवरों को नजदीक से देख सकेंगे, जानवर भी आराम से घूम सकेंगे और बच्चों को जानवरों के बारे में बहुत कुछ सिखाया जा सकेगा।

इस पूरी योजना का मकसद सिर्फ पर्यटकों को आकर्षित करना नहीं है, बल्कि जानवरों को सम्मान, आराम और बेहतर जिंदगी देना है। यह एक ऐसा कदम है जो इंसानों और जानवरों के रिश्ते को और मजबूत करेगा।

निष्कर्ष:

दिल्ली के चिड़ियाघर को अब नई पहचान मिलने जा रही है। यह सिर्फ घूमने की जगह नहीं रहेगा, बल्कि एक ऐसी जगह बनेगा जहां जानवर सुरक्षित, खुश और आज़ाद महसूस करेंगे। जैसे गांव में लोग अपने पशुओं का ध्यान रखते हैं, वैसे ही यहां पर भी जानवरों की देखभाल होगी – बस और आधुनिक तरीके से।