लग्जरी होटल ने खराब कर दिया मॉडल का हेयरकट, अब देना होगा 2 करोड़ रुपए का मुआवजा

राष्ट्रीय उपभोक्ता विवाद निवारण आयोग (एनसीडीआरसी) ने एक लक्जरी होटल श्रृंखला को एक महिला को मुआवजे के रूप में  2 करोड़ रुपए का भुगतान करने का निर्देश दिया है, यह देखते हुए कि “उसने अपने बाल खो दिए और उसका बड़ा नुकसान हुआ, जिसने उसकी लाइफस्टाइल को पूरी तरह से बदल दिया और उसके टॉप मॉडल बनने के सपने को चकनाचूर कर दिया.”

अध्यक्ष आरके अग्रवाल और सदस्य डॉ एसएम कांतिकर की पीठ ने होटल को महिला को दो करोड़ रुपये का मुआवजा देने का निर्देश दिया.

उपभोक्ता अदालत ने कहा, “उपरोक्त चर्चा के लिए, शिकायत को आंशिक रूप से अनुमति दी जाती है और हमारा विचार है कि अगर शिकायतकर्ता को ₹ 2,00,00,000 का मुआवजा दिया जाता है, तो यह न्याय को पूरा करेगा.”

आयोग के अध्यक्ष आरके अग्रवाल और सदस्य डॉ. एसएम कांतिकर की पीठ ने कहा कि महिलाओं को अपने बालों का बहुत ख्याल रहता है और उनका ध्यान रखने के लिए वे काफी पैसे खर्च करती हैं. उनका बालों से भावनात्मक लगाव होता है.

आयोग ने कहा, कि शिकायतकर्ता आशना रॉय अपने लंबे और सुंदर बालों के कारण ‘हेयर प्रोडक्ट’ की मॉडल थीं और उन्होंने कई बड़े ‘हेयर-केयर ब्रांड’ के लिए मॉडलिंग भी की है. होटल ने उनके निर्देश से उलट गलत बाल काटे और इसके कारण उन्हें अपने काम से हाथ धोना पड़ा. इससे उन्हें बहुत नुकसान हुआ, उनका पूरा रहन-सहन बदल गया और टॉप मॉडल बनने का उनका सपना टूट गया. पीठ ने 21 सितंबर के अपने आदेश में कहा, कि वो प्रबंधन के क्षेत्र में वरिष्ठ पदाधिकारी के रूप में काम कर रही थी और अच्छा पैसा कमा रही थी. उसके बाल काटने में हुई लापरवाही के कारण उसे गंभीर मानसिक प्रताड़ना और तनाव से गुजरना पड़ा. वो अपने काम पर ध्यान नहीं दे पाई, जिससे उनकी नौकरी चली गई.

शिकायत के मुताबिक, उसे एक इंटरव्यू पैनल के सामने पेश होना था. इंटरव्यू से एक हफ्ते पहले 12 अप्रैल, 2018 को, वह इंटरव्यू पैनल के सामने एक साफ-सुथरी उपस्थिति के लिए अच्छे हेयरस्टाइल के लिए एक होटल के सैलून में गई. जहां उसने साफ-साफ शब्दों में आगे से लंबे ‘फ्लिक्स’ रखने और पीछे से बालों को चार इंच काटने को कहा था. लेकिन आशना का आरोप है कि हेयर ड्रेसर ने उसकी बात नहीं सुनी और उसने महज चार इंच बाल छोड़कर उसके लंबे बालों को पूरी तरह से काट दिया.

13 अप्रैल, 2018 को, हेयर ड्रेसर के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं होने के कारण, शिकायतकर्ता ने मामले को देखने के लिए सैलून के महाप्रबंधक को बुलाया, हालांकि, उसने यह कहते हुए उसके साथ दुर्व्यवहार किया कि वह सैलून के खिलाफ कोई भी कार्रवाई करने के लिए स्वतंत्र है.

आखिरकार शिकायतकर्ता ने प्रबंधन से संपर्क किया और उन्हें घटना से अवगत कराया लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ. परेशान होकर  शिकायतकर्ता ने शिकायत दर्ज कराई है कि विपरीत पक्षों की ओर से सेवा में कमी का आरोप लगाया गया है और होटल प्रबंधन से लिखित माफी के साथ-साथ उत्पीड़न, अपमान और मानसिक आघात के लिए मुआवजे की मांग की गई है.

विरोधी पक्ष द्वारा शिकायत का विरोध किया गया है और उन्होंने यह भी प्रस्तुत किया है कि शिकायतकर्ता ने सैलून में मुफ्त में बाल काटने और उपचार की सेवा का लाभ उठाया है और इसलिए, वह अधिनियम के दायरे में नहीं आती है.

इसके अलावा होटल ने कहा, शिकायतकर्ता द्वारा शिकायत में दावा किए गए मुआवजे को बढ़ा-चढ़ाकर और बिना किसी आधार के पेश किया गया है.

होटल ने कहा, कि शिकायतकर्ता ने उनकी प्रतिष्ठा और सद्भावना को खराब करने के इरादे से शिकायत दर्ज कराई है.

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