लाख मन्नतों के बाद हुए सुशांत सिंह राजपूत, मां ने रखे थे कई व्रत

पटना का राजीव नगर का पूरा इलाका दोपहर से ही मायूसी में डूब गया। सुशांत सिंह राजपूत के सु/साइड की खबर ने पूरे शहर को हिला दिया है। आसमान की बुलंदियां को छू रहा एक सितारा हमेशा के लिए इस दुनिया को यूं अलविदा कहेगा, कोई सोच नहीं सकता था। चार बहनों के बाद जन्म लेने वाले सुशांत सिंह के लिए उनकी मां ने कई व्रत किए थे। कई मंदिरों में मन्नतें मांगी थीं। मां की मृत्यु पर भी न टूटने वाले सुशांत सिंह ये कदम उठाएंगे ऐसा कोई नहीं सोच सकता था। खबर जैसे ही फैली रिश्तेदारों और पड़ोसियों का तांता उनके घर पर देर शाम लगा रहा। पिता बे/सुध पड़े थे और पड़ोसियों की आंखें नम थीं। पूरा इलाका गम में डूबा हुआ था। एक चमकता स्टार जो उनके बहुत पास रहता था, जो उनके साथ खेला करता था, सेल्फियां लेता था, बच्चों को मोटिवेट करता था। अब वो बहुत दूर जा चुका था। इतना दूर कि अब लौटना भी संभव नहीं रह गया।

पापा कहते हैं बड़ा नाम करेगा…… नाम तो किया लेकिन अकेला छोड़ गया
सुशांत सिंह के घर के ठीक सटे घर में रह रही अंजनी पाठक बताती हैं कि पांच बहनों के बाद उसका जन्म हुआ। वह बहुत ही लाडला था। सबकी आंखों का तारा था। उसकी मां ऊषा चाची ने उसके लिए बहुत सारी मन्नतें मांगी थीं। मेरे दरवाजे के सामने उसका किचन है। वहीं से उसकी मां उसके लिए एक ही गाना गाया करती थी। पापा कहते हैं बड़ा नाम करेगा… बेटा हमारा ऐसा काम करेगा लेकिन ये किसे पता था कि बेटा नाम तो करेगा लेकिन यूं अकेला छोड़ जाएगा। वह भी इतनी जल्दी, इस तरह। इतना बोलते ही उनकी आंखें भींग जाती हैं और शब्द लड़खड़ा जाते हैं। वो कहती हैं कि वह बहुत अच्छा इंसान था। जब भी यहां आता तो हमारे घर जरूर आता था।

मां की मौ/त से टूट गए थे सुशांत
सुशांत की मां की मौ/त साल 2002 में हुई थी। जनवरी 2016 में एक इंटरव्यू के दौरान उन्होंने इसे अपने जीवन का सबसे दुखद मौका बताया था। उन्होंने कहा था वो एक भ/यानक अहसास था, जो अब भी ड/राता है। परिवार के किसी सदस्य की मौ/त से ये मेरा पहला सामना था। जब इस तरह की चीजें होती हैं तो आपको हर चीज के क्षणिक होने का पता चलता है। इस घटना ने मेरे अंदर बहुत कुछ बदल दिया। मैं वही व्यक्ति नहीं हूं जो उनके जाने से पहले था।

जब भी मिलता तो मेरे पैर छूकर ही प्रणाम करता था
सुशांत सिंह के घर के ठीक सामने रहने वाले पड़ोसी वीरेंद्र कुमार सिंह ने बताया कि सुशांत बचपन से टॉपर स्टूडेंट रहा है। वो शांत और बहुत डेडिकेटेड लड़का था। मेरे बेटे के साथ एक ही ऑटो में स्कूल जाता था। हर दिन घर आना-जाना और खेल-कूद करता था। उसे कभी भी 90 प्रतिशत से कम नहीं आए। मुंबई में सेटल होने के बाद बहुत कम ही पटना में रहा लेकिन जब भी आता था तो चचा कहकर पांव जरूर छूता था। सबका हाल चाल लेता और बातें करता था। पड़ोसी आर्यन कुमार ने बताया कि पिछली बार जब वो आए तो उनके साथ बैडमिंटन भी खेला था। हमसे मिले और बातें की। लोग उन्हें घेर लेते थे लेकिन वो सबसे बहुत अच्छे से मिलते थे। स्टारडम का जरा सा भी घमंड नहीं था। वो हमारे लिए गुलशन भैया थे।

अपने आखिरी पोस्ट में सुशांत ने मां को किया था याद, लिखा था- आपने हमेशा साथ रहने का किया था वादा
3 जून को सोशल मीडिया पर अपनी आखिरी पोस्ट में सुशांत ने अपने साथ अपनी मां की यह तस्वीर लगाई जिसमें लिखा हुआ था धुंधला अतीत आंसुओं के रूप में वाष्प बनकर उड़ रहा है, मुस्कुराहट को उकेरते असीमित सपने और जिंदगी का ठिकाना नहीं, दोनों के बीच सामंजस्य कर रहा है। मां… सुशांत के इस पोस्ट पर इंडस्ट्री से उनके काफी दोस्तों ने कमेंट किए, जिसमें उनकी कथित गर्लफ्रेंड रिया चक्रवर्ती भी शामिल थीं।

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