घर वापसी को दिल्ली में प्रवासी मजदूरों का जनसैलाब, बिहार के चार स्पेशल ट्रेन चला रही है रेलवे

दिल्ली में 6 दिन की लॉकडाउन की घोषणा होते हुए बाजारों और सड़कों पर जनता की भीड़ उमड़ पड़ी, पर इस दौरान कहीं भी सोशल डिस्टेंसिंग नहीं दिखाई दी। लॉक डाउन की घोषणा होते ही दिल्ली में लोग शराब, किराना, फल की दुकानों के आगे लाइन लगा दी। लोग रात 10बजे के पहले ही शराब और राशन, फल मार्केट सहित सभी जरूरी समान घर में भर लेना चाहते थे। पर इस दौरान सामान खरीदने की जल्दबाजी में लोग सोशल डिस्टेंसिंग भूल गए। एक दूसरे से दूरी रखने के बजाय एक दूसरे को टच करते दिखे।

मुख्यमंत्री केजरीवाल के द्वारा दिल्ली में लॉकडाउन की घोषणा के बाद दिल्ली से मजदूरों का पलायन तेजी से शुरू हो गया है और दिल्ली के तमाम बस स्टैंडों पर मजदूरों की भीड़ देखी जा रही है। दिल्ली से हज़ारों मज़दूर अपने घर लौटने के लिए पूर्वी दिल्ली के आनंद विहार बस टर्मिनल और गाजियाबाद के कौशांबी बस डिपो पर लोग सिर पर सामान रखे और महिलाएं गोद में बच्चे लिए नजर आ रही हैं। मजदूर बच्चों को गोद, कंधे पर और समान सर पर लिए आनंद विहार बस टर्मिनल और कौशांबी बस डिपो के बीच लोग दौड़ते हुए नजर आ रहे हैं सभी मजदूरों में होड़ है कि जल्दी से अपने गांवों को वापस पहुंच जाएं।

दिल्ली से बिहार जाने वाले लोगों के लिए रेलवे ने बड़ी राहत देते हुए अगले तीन दिनों में 4 स्पेशल ट्रेनें चलाने का फैसला लिया है। दिल्ली में सोमवार को 6 दिनों के लॉकडाउन के ऐलान के बाद रेलवे स्टेशनों पर भारी भीड़ देखने को मिल रही है। ऐसे में प्रवासी मजदूरों को अपने गांव तक पहुंचाने के लिए रेलवे का यह ऐलान बड़ी मदद साबित होगा। हालांकि रेल मंत्रालय ने दिल्ली में स्टेशनों पर प्रवासी मजदूरों की भारी भीड़ उमड़ने की खबरों को गलत करार दिया है। मंत्रालय के अफसरों ने कहा कि रेलवे स्टेशनों पर कोई भीड़ नहीं देखने को मिली है। हालांकि आनंद विहार बस टर्मिनल पर जरूर बड़ी संख्या में लोग जुटे हैं। मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि दिल्ली में लागू हुए लॉकडाउन के बीच भी ट्रेनों का संचालन जारी रहेगा।

रेल मंत्रालय का कहना है कि गर्मियों के सीजन में वैसे भी यात्रियों की संख्या बढ़ जाती है। ऐसे में इस सीजन में हमने जरूरतों को पूरा करने के लिए अतिरिक्त ट्रेनें चलाने का फैसला लिया है। फिलहाल कोरोना से पहले के दौर के मुकाबले 70 फीसदी ट्रेनों का संचालन शुरू हो चुका है। बीते एक सप्ताह में रेलवे ने 69 अतिरिक्त समर स्पेशल ट्रेनों के संचालन की प्लानिंग की है ताकि जरूरतें पूरी हो सकें। 30 अप्रैल तक रेल मंत्रालय ने 88 समर स्पेशल ट्रेनों और 45 फेस्टिवल स्पेशल ट्रेनों के संचालन की तैयारी की है। फिलहाल रेलवे ने 9,622 स्पेशल ट्रेनों के संचालन को मंजूरी दी है। अभी इनमें से 7,745 ट्रेनें चल रही हैं, जबकि कोरोना से पहले के दौर में कुल 11,283 ट्रेनें चलती थीं।

आईएसबीटी पर भारी भीड़ पहुंचने लगी. एक बार फिर मजदूरों में अफरा-तफरी जैसा माहौल दिखा। मजदूरों के घर की ओर वापस लौटने को देखते हुए सीएम अरविंद केजरीवाल ने उनके दिल्ली में ही रुकने की अपील की। उन्होंने प्रवासी मजदूरों से कहा, ‘आने जाने में इतना समय खराब हो जाएगा। सरकार पूरी तरह आपके साथ है। यह छोटा लॉकडाउन है और छोटा ही रहेगा। शायद इसे बढ़ाने की जरूरत नहीं पड़ेगी। आप लोग दिल्ली छोडक़र मत जाइएगा। यह निर्णय हमने बहुत मजबूरी में लिया है। इन 6 दिनों के लॉकडाउन में हम दिल्ली में बड़े स्तर पर बेड की व्यवस्था करेंगे। केंद्र सरकार हमारी मदद कर रही है।

कोरोना संक्रमण के मद्देनजर भीड़ को नियंत्रित रखने के लिए दिल्ली के सभी रेलवे स्टेशनों पर प्लेटफार्म टिकट की ब्रिक्री सोमवार शाम से बंद कर दी गई है। उत्तर रेलवे दिल्ली मंडल के रेल प्रबंधक एससी जैन ने आज ट्वीट कर इसकी जानकारी जनता को दी है। बताया जा रहा है कि रेलवे अधिकारियों ने दिल्ली में तेजी से बढ़ती कोरोना संक्रमण के मामलों को ध्यान में रखकर यह कदम उठाया है, जिससे सोशल डिस्टेंसिंग के नियम बनाए रखने में मदद मिल सके। रेलवे अधिकारियों के मुताबिक स्टेशन परिसर मेंं भीड़ भी बढ़ रही है। इसके मद्देनजर नई दिल्ली, पुरानी दिल्ली, दिल्ली सराय रोहिल्ला, हजरत निजामुद्दीन, आनंद विहार समेत सभी स्टेशनों पर प्लेटफार्म टिकट की ब्रिक्री बंद कर दी गई है।

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