बिहार में मृ/त नियोजित शिक्षकों के परिजनों को मिलेगा 4-4 लाख रुपए का मुआवजा

Patna: बिहार सरकार मृत नियोजित शिक्षकों के परिजनों को मिलेगा 4-4 लाख रुपए मुआवजा देगी. सभी 42 मृ/त शिक्षकों के परिजनों को सरकार मुआवजा देगी. सूबे के शिक्षा मंत्री कृष्णनंदन वर्मा ने कहा कि प्रदेश सरकार नियोजित शिक्षकों के साथ खड़ी है. इन सभी शिक्षकों की मौत हड़ताल के दौरान हुई है. नियोजित शिक्षक 55 दिनों से हड़ताल पर हैं.

कौन हैं नियोजित शिक्षक?

बता दें कि ग्रामीण स्तर पर बेरोजगार युवाओं को रोजगार के अवसर मुहैया कराने और शिक्षकों की कमी झेल रहे सरकारी विद्यालयों में वर्ष 2003 से शिक्षा मित्र रखे जाने का फैसला किया गया था. उस समय दसवीं और बारहवीं में प्राप्त किए अंकों के आधार पर इन शिक्षकों को 11 महीने के कांट्रैक्ट पर रखा गया था. इन्हें मासिक 1500 रुपये का वेतन दिया जा रहा था. फिर धीरे धीरे उनका अनुबंध भी बढ़ता रहा और उनकी आमदनी भी बढ़ती रही.

नए और पुराने शिक्षकों के वेतन में काफी अंतर

वर्ष 2006 में इन शिक्षा मित्रों को ही नियोजित शिक्षक के तौर पर मान्यता दे दी गई. बिहार पंचायत नगर प्राथमिक शिक्षक संघ के अनुसार बिहार में मौजूदा समय में तीन लाख 70 हजार समायोजित शिक्षक हैं, जिन्हें अपने काम के हिसाब से वेतन नहीं मिल रहा है. दरअसल पूर्व से नियुक्त सरकारी शिक्षकों के वेतनमान इन नियोजित शिक्षकों के मुकाबले लगभग ढाई गुना अधिक है.

समय-समय पर होती रही है वेतन वृद्धि

हालांकि बिहार सरकार ने समय-समय पर नियोजित शिक्षकों के वेतन में भी वृद्धि की है और वर्तमान नियोजित शिक्षकों में प्राइमरी टीचरों को 22 हजार से 25 हजार रुपये प्रतिमाह मिलते हैं, वहीं माध्यमिक शिक्षकों को 22 से 29 हजार रुपये मिलते हैं, हाई स्कूलों के ऐसे शिक्षकों को 22 से 30 हजार रुपये मिलते हैं.

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