मोदी सरकार से सुप्रीम कोर्ट का सवाल…केंद्र व राज्योंके लिए वैक्सीन की कीमतें अलग क्यों

कोरोनाकाल में ऑक्सीजन व आवश्यक दवाओं की आपूर्ति के हालात पर राष्ट्रीय नीति के मुद्दे पर सुनवाई कर रही सुप्रीम कोर्ट की बेंच ने मंगलवार को केंद्र सरकार से पूछा कि कोरोना की वैक्सीन की कीमत केंद्र और राज्यों के लिए अलग-अलग क्यों है। जस्टिस डीवाई चंद्रचूड, जस्टिस एल नागेश्वर राव और जस्टिस एस रविंद्र भट की पीठ ने कहा कि ड्रग कंट्रोलर्स एक्ट और पेटेंट्स एक्ट के तहत सरकार को वैक्सीन के दामों को नियंत्रित करने की शक्ति हासिल है। उसके बावजूद अलग-अलग कीमतों क्यों? सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार से पूछा है कि वह राज्यों में ऑक्सीजन के उत्पादन व वितरण की जानकारी दे। इसके साथ ही जरूरी दवाओं की आपूर्ति जिलों तक किस तरह से की जा रही है? एक मई से शुरू हो रहे टीकाकरण के लिए क्या कदम उठाए गए हैं? अगली सुनवाई 30 को होगी।

सॉलीसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि उन्होंने अपना जवाब दायर कर दिया है। प्रधानमंत्री और गृहमंत्री ऑक्सीजन उत्पादन और वितरण को बेहतर बनाने के लिए खुद सक्रिय हैं। राजस्थान की ओर से वरिष्ठ वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा कि राजस्थान सरकार ने भिवड़ी में आइनॉक्स प्लांट से निकले टैंकर को आपदा प्रबंधन अधिनियम के तहत रोका था। दिल्ली हाईकोर्ट ने गलत जानकारी पर राजस्थान सरकार पर टिप्पणी की। दिल्ली सरकार के वकील ने कहा कि राजस्थान में वे ऑक्सीजन टैंकर रोके गए, जिन्हें दिल्ली आना था। जस्टिस चंद्रचूड ने टोकते हुए कहा कि यह जानकारी आप दिल्ली हाईकोर्ट के समक्ष रखें। सिंघवी ने कहा कि दिल्ली हाईकोर्ट राज्यों को नहीं सुन रहा है।

जस्टिस चंद्रचूड ने कहा कि चूंकि इस मामले में हरीश साल्वे कोर्ट मित्र के प्रभार से मुक्त हो चुके हैं। इसलिए हम इस माामले में दो कोर्ट सलाहकर नियुक्त करना चाहते हैं। हम इस मामले में वकील जयदीप गुप्ता व मीनाक्षी आरोड़ा को कोर्ट मित्र नियुक्त कर रहे हैं।

जस्टिस चंद्रचूड ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट को सुनवाई करना इसलिए जरूरी है क्योंकि इसमें राष्ट्रीय या प्रणालीगत मुद्दे हो सकते हैं। राष्ट्रीय संकट के समय हम मूकदर्शक बने नहीं रह सकते। हम आर्टिकल 226 के तहत हाईकोर्ट को किसी भी सुनवाई से नहीं रोक रहे हैं।

रूस की कोरोना वैक्सीन स्पूतनिक-वी भारत में मई से उपलब्ध हो जाएगी। भारत में इस वैक्सीन की निर्माता कंपनी डॉ. रेड्‌डीज लैबोरेटरीज के सीईओ दीपक सपरा ने यह जानकारी दी। सपरा ने एक इंटरव्यू में कहा, “सीमित मात्रा में स्पूतनिक-वी की पहली खेप रूस से आयात की जाएगी। जैसे ही हम सीधे वैक्सीन की सप्लाई करने लगेंगे, रूस से आयात बंद कर दिया जाएगा। हमारी कंपनी ने भारत में स्पूतनिक-वी वैक्सीन बनाने के लिए छह उत्पादन इकाइयां चुनी हैं। इनमें से दो इकाइयों से जून-जुलाई से सप्लाई शुरू होने की उम्मीद है।

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