लोजपा में टूट, बगावत पर उतरे चिराग की पार्टी के नेता, एक के बाद एक सारे लोग छोड़ रहे हैं साथ
PATNA-बिहार में दो खेमों में बंटी चिराग की पार्टी, BJP और RJD के साथ गठबंधन को लेकर नेताओं के मत अलग, कुछ पार्टी छोड़ने की तैयारी में, 40 महासचिव बनाए जाने पर भी ऐतराज, इस वजह से पार्टी छोड़ सकते हैं कुछ नेता
चिराग पासवान की लोकजनशक्ति पार्टी (रामविलास) के बिहार इकाई में सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है। पार्टी के अंदर दो बड़े नेताओं का धड़ा बंट गया है। इसकी वजह है गठबंधन। इस पॉइंट पर पार्टी के दो बडे़ नेताओं के अलग-अलग मत हैं। दोनों नेता बड़े कद वाले हैं। सूत्रों के अनुसार जो बातें सामने आई है, उसके मुताबिक प्रदेश इकाई के एक नेता व उनके समर्थक भारतीय जनता पार्टी के साथ गठबंधन जारी रखने के पक्ष में हैं।
जबकि, दूसरे बड़े नेता चाहते हैं कि MLC चुनाव से पहले पार्टी का गठबंधन राष्ट्रीय जनता दल के साथ हो। इसके लिए दूसरे बड़े नेता की तरफ से पूरी कोशिश की जा रही है। पार्टी से जुड़े लोगों की तरफ से दावा यहां तक किया जा रहा है कि गठबंधन को लेकर इन दोनों बड़े नेताओं के बीच आपस में बन नहीं रही है। धीरे-धीरे विवाद का स्तर बढ़ता चला जा रहा है।
हालांकि, भाजपा हो या राजद, इन दोनों में से किसी के साथ भी गठबंधन का अंतिम फैसला चिराग पासवान को ही लेना है। मगर, सूत्रों के हवाले से पार्टी के अंदर चल रहे विवाद के बारे में प्रवक्ता राजेश भट्ट से गुरुवार को पूछा गया तो उन्होंने इससे साफ इनकार किया। इनके अनुसार पार्टी के अंदर सब कुछ ठीक है। कहीं किसी प्रकार की आपस में टकराव वाली बात नहीं है।
14 दिसंबर को ही प्रदेश अध्यक्ष ने बिहार में नई कमेटी बनाई। इसमें 16 उपाध्यक्ष, 40 महासचिव, 61 सचिव, 34 सदस्य और एक कोषाध्यक्ष बनाया था। सूत्रों की माने तो पार्टी के अंदर इस फैसले पर भी कई नेता अपनी नाराजगी जाहिर कर रहे हैं। एक नेता का दावा है कि संविधान के तहत 18 महासचिव ही बनाने का अधिकार है। पार्टी के संविधान को दरकिनार कर 40 महासचिव बना दिए गए। इस वजह से सीनियर और जूनियर नेताओं का फर्क पार्टी के अंदर खत्म हो गया है।
अधिकांश एक समान से दिखने लगे हैं। इस पर कुछ पुराने व सीनियर नेता ने अपनी आपत्ति भी जताई है। आपत्ति जताने वाले नेता कौन हैं? पहचान की वजह से उनके नाम का खुलासा नहीं किया गया। इस पॉइंट पर भी प्रवक्ता राजेश भट्ट से जब पूछा गया तो उन्होंने कहा कि सिर्फ लोजपा दो भाग में बंटी थी। जिसे पारस और चिराग गुट कहा जाने लगा था। पर अब लोजपा (रामविलास) अपनी पार्टी है। इसका अपना संविधान है और इसके आधार पर ही प्रदेश अध्यक्ष ने नई कमेटी में नेताओं व कार्यकर्ताओं को जगह दी है।
दावा यह किया जा रहा है कि प्रदेश नेतृत्व से नाखुश कुछ नेता पार्टी छोड़ने का मन बना चुके हैं। क्योंकि, इसकी दूसरी वजह कुछ लोगों का पार्टी ज्वॉइन करना बताया जा रहा है। दरअसल, केंद्रीय मंत्री पशुपति कुमार पारस की पार्टी से कुछ नेता वापस चिराग की पार्टी में ज्वॉइन करना चाहते हैं। जिससे चिराग की पार्टी के कुछ नेता नाराज हो गए हैं।
इनका आरोप है कि पार्टी में उन लोगों को ज्वॉइन कराने की तैयारी चल रही है, जो चिराग पासवान के बारे में ही अपशब्दों का इस्तेमाल करते थे। हमेशा अनरगल बयान देते थे। अब बात स्वाभिमान के लड़ाई की है। जैसे ही पारस गुट के नेता इस पार्टी में ज्वॉइन करेंगे, वैसे ही कुछ नेता इस पार्टी को छोड़कर दूसरे राजनीतिक दलों में चले जाएंगे।
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