भगवान राम के उपनाम वाले बिहार के इस गांव में दो दिन से हो रहा हवन-यज्ञ, दीपोत्सव भी मनाया जा रहा

PATNA : बिहार (Bihar) के मुजफ्फरपुर जिले (Muzaffarpur District) में भगवान राम (Lord Ram) के उपनाम वाला एक गांव है. इस गांव का नाम पुरुषोत्तमपुर (Purushottampur Village) है. शहर के कच्चे-पक्के इलाके से पांच किलोमीटर दूर पुरुषोत्तमपुर गांव में अयोध्या में राम मंदिर निर्माण (Ram Temple Construction) के शिलान्यास को लेकर हवन-यज्ञ और दीपोत्सव मनाया जा रहा है. पुरुषोत्तमपुर गांव के लोगों ने 1990 के दशक में देश में हुए राम मंदिर आंदोलन में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया था. गांव के कई लोगों ने कारसेवकों की भूमिका निभाई थी. बुधवार पांच अगस्त को राम जन्मभूमि पूजन महोत्सव अयोध्या में होने वाला है, इसे देखते हुए भगवान राम के उपनाम वाले इस गांव के लोगों ने पूजा-पाठ और उत्सव मनाना शुरू कर दिया है. गांव में पिछले दो दिन से पूजा-पाठ का विशेष आयोजन हो रहा है. यहां के गणेश मंदिर और दूसरे भगवान और भगवती के मंदिरों को आकर्षक तरीके से सजाया गया है. घर-घर में भी हवन और यज्ञ किया जा रहा है. इस पवित्र काम में सभी उम्र के लोग उत्साहपूर्वक भाग ले रहे हैं. इसके अलावा गांव में दो दिन से दीपोत्सव कार्यक्रम भी मनाया जा रहा है.

पुरुषोत्तमपुर गांव में सावन के पूर्णिमा यानी सोमवार के दिन से यह आयोजन शुरू हुआ है. हवन यज्ञ के साथ संध्या में ग्रामीण अपने घरों में दीया जला कर दीपोत्सव मना रहे हैं. ग्रामीणों ने गांव के मंदिर जा कर दीया जलाना भी शुरू किया है. ग्रामीणों में अयोध्या में जल्द होने वाले राम मंदिर निर्माण की शुरुआत को लेकर काफी उत्साह है. सोमवार से शुरू हुए पूजा-पाठ, हवन-यज्ञ और दीपोत्सव का काम बुधवार की शाम तक होगा. इसके अलावा गांव में रामनवमी की तरह उत्सव मनाने की भी तैयारी चल रही है. बुधवार को गांव में विशेष पूजा अर्चना की जाएगी. राम मंदिर आंदोलन में कारसेवक की भूमिका निभाने वाले यदुनंदन प्रसाद सिंह ने न्यूज़ 18 से बातचीत में बताया कि उनके गांव के दर्जनों लोग अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के लिए कारसेवक की भूमिका में पहुंचे थे. यह सिलसिला 1990 से लेकर वर्ष 95 तक चला था. ग्रामीणों ने आर्थिक तौर पर मंदिर निर्माण के लिए पहल भी की थी. कारसेवा आंदोलन के तीन दशक बाद राम मंदिर निर्माण का रास्ता साफ हुआ है तो लोगों ने भगवान राम के नाम पर रखे गए अपने गांव में विशेष पूजा-अर्चना करने का आयोजन किया है. बुधवार को गांव में पूजा-पाठ के बाद मिठाई बांटने का भी आयोजन है.

पुरुषोत्तमपुर गांव के युवा सोमवार से राम नाम का जाप कर रहे हैं. गांव के अलग-अलग मंदिरों में यह जाप किया जा रहा है. हर घर में हवन के अलावा राम नाम जाप किया जा रहा है. गांव के किशोर से लेकर युवा, महिला और वृद्ध भी राम नाम का जाप कर रहे हैं. चारों तरफ राम नाम का गुंजायमान हो रहा है. अयोध्या में बनने जा रहे राम मंदिर को पवित्र और धार्मिक अनुष्ठान वाला कार्य बताते हुए ग्रामीण इसे ऐतिहासिक क्षण बता रहे हैं. करीब पांच हजार की आबादी वाले पुरुषोत्तमपुर गांव के अधिकांश लोग भगवान राम से सीधा जुड़ाव महसूस करते हैं. इस ऐतिहासिक क्षण में गांव के घर-घर में चल रहे धार्मिक अनुष्ठान से रामनवमी जैसा माहौल बन गया है. ग्रामीणों को इस बात का आभास है कि भगवान राम के उपनाम वाला उनका यह पुरुषोत्तमपुर गांव श्रीराम से सीधा जुड़ा हुआ है. गांव में अन्य मंदिरों के अलावा यहां भगवान राम के एक मंदिर की भी आधारशिला रखी गई है. इसे ग्रामीण आपसी सहयोग से भव्य और आकर्षक बनाने की इच्छा रखते हैं.

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