मोदी सरकार पर बरसा SC, जासूसी मामले में पूछा, केंद्र ये तो बताए, पेगासस का इस्तेमाल किया या नहीं

PATNA= पेगासस पर केंद्र ने कहा- कोर्ट में हलफनामा और बहस नहीं चाहते, यह राष्ट्रीय सुरक्षा का मामला, केंद्र का हलफनामा दायर करने से इनकार, कोर्ट ने मामले में अंतरिम फैसला सुरक्षित रखा, सीजेआई रमना बोले- हम दो-तीन दिन में फैसला देंगे, तब तक केंद्र कुछ बताना चाहे तो बता दे

स्पाईवेयर पेगासस के माध्यम से विपक्षी नेताओं, पत्रकारों व अन्य लोगों की जासूसी के मामले में दायर याचिकाओं पर केंद्र सरकार ने अतिरिक्त हलफनामा दायर करने से इनकार कर दिया। सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस एनवी रमना, जस्टिस सूर्यकांत व जस्टिस हिमा कोहली की पीठ ने मामले में केंद्र सरकार के प्रति नाराजगी जाहिर की। कोर्ट ने मामले में अपना अंतरिम आदेश सुरक्षित रखते हुए कहा कि वह 2-3 दिन में फैसला सुनाएंगे। अगर इस दौरान केंद्र सरकार उन्हें कुछ बताना चाहती है तो बता सकती है।

इस मामले में वरिष्ठ पत्रकार एन राम, राज्यसभा सांसद जॉन ब्रिटास और पूर्व केंद्रीय मंत्री यशवंत सिन्हा सहित 15 लोगों ने सुप्रीम कोर्ट में याचिकाएं दायर की हैं। सभी ने मामले की रिटायर्ड जज की अध्यक्षता में जांच कराने की मांग की है। याचिकाकर्ताओं की ओर से वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने कहा कि केंद्र सरकार जानकारी छिपाना चाहती है। ऐसे में सरकार को कमेटी गठन क्यों करने दिया जाए। वरिष्ठ वकील श्याम दीवान ने कहा कि आईअाईटी कानपुर के विशेषज्ञ ने हलफनामा दायर कर बताया है कि जिन लोगों की जासूसी होती है, उन्हें इसकी जानकारी ही नहीं हो पाती। उनके मुवक्किल आईआईएम के रिटायर्ड प्रोफेसर हैं। अगर ऐसे सम्मानितों को निशाना बनाया जा रहा है तो यह लाेकतंत्र पर प्रहार है। वकील दिनेश द्विवेदी ने कहा कि सरकार एक ओर तो आरोप को बेबुनियाद बता रही है और दूसरी ओर कमेटी बनाने की बात कर रही है। इसका मतलब सरकार ने इसका इस्तेमाल किया है।

केंद्र ने कहा-हम निष्पक्ष कमेटी बनाने को तैयार हैं
सॉलीसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि याचिकाकर्ता चाहते हैं कि सरकार लिखकर दे कि वह पेगासस का इस्तेमाल करती है या नहीं। हमारा मानना है कि यह राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ा मामला है। हम हलफनामा दायर कर बहस नहीं कर सकते। हम निष्पक्ष कमेटी बनाएंगे। जस्टिस सूर्यकांत ने कहा कि आप भले ही संवेदनशील जानकारी न दें। मगर इसका जवाब जरूर दें कि क्या जासूसी हुई और क्या यह सब सरकार की अनुमति से हुआ। चीफ जस्टिस रमना ने कहा कि हमें राष्ट्रीय सुरक्षा के मुद्दों में कोई दिलचस्पी नहीं हैं। हमें सिर्फ जानना है कि क्या कोई भी पेगासस इस्तेमाल कर सकता है? क्या सरकार ने इसका इस्तेमाल किया? क्या यह कानूनी तरीके से हुआ? सरकार अतिरिक्त हलफनामा दायर नहीं करना चाहती तो हमें आदेश पारित करना पड़ेगा।

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