पटना में बनकर तैयार हुआ विश्व स्तरीय मेदांता हॉस्पिटल, गरीबों का होगा ‘मुफ्त’ में इलाज

शुरुआत अोपीडी से, मार्च से होगी 100 बेड की व्यवस्था

पटना | मेदांता सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल (जयप्रभा अस्पताल, कंकड़बाग कैंपस) की सुविधा जनवरी के अंत से मिलने लगेगी। शुरुआत अोपीडी से होगी। मार्च से 100 बेड की व्यवस्था हो जाएगी। 15 अगस्त से सभी विश्वस्तरीय सुविधाअों के साथ यहां 300 बेड की सुविधा बहाल हो जाएगी। अस्पताल में कुल बेड की संख्या 500 अाैर अाईसीयू में 125 से अधिक बेड की व्यवस्था की जाएगी। इमरजेंसी की सुविधा 24 घंटे मिलेगी।

राज्य सरकार से करार के मुताबिक 25 फीसदी बेड गरीब मरीजों को सीजीएचएस (सेंट्रल गवर्नमेंट हेल्थ स्कीम) की रेट पर उपलब्ध कराए जाएंगे। यह जानकारी स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय और अस्पताल के चेयरमैन डॉ. नरेश त्रेहान ने संवाददाता सम्मेलन में दी।
प्रेस कॉन्फ्रेंस में मंत्री मंगल पांडेय और डॉ. नरेश त्रेहान।

अस्पताल में ओपीडी से लेकर इंडोर तक की सभी तरह की स्वास्थ्य सुविधाएं शुरू होंगी। इस अस्पताल की कुल क्षमता 500 बेड की है। इमरजेंसी में 12 बेड और आईसीयू में 60 बेड की सुविधा मिलेगी। ये बातें मेदांता गुड़गांव इंस्टीट्यूट ऑफ लिवर ट्रांसप्लांट के अध्यक्ष सह मुख्य सर्जन डॉ.अरविंदर सिंह सोइन ने कहीं।

प्रेस वार्ता में डॉ.एएस सोइन ने बताया कि पहले से चल रहे मेदांता मेडिक्लिनिक में मेदांता लिवर क्लिनिक का शुभारंभ किया गया। यहां चल रहे ओपीडी में डॉ.सोइन समेत डॉ.त्यागराजन और शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ.नीलम मोहन से सलाह ली जा सकती है। उन्होंने बताया कि ओपीडी नियमित रूप से काम करेगा। लिवर से संबंधित समस्याओं के लिए बिहार के मरीजों को सेवा उपलब्ध कराया जाएगा। बताया कि लिवर ट्रांसप्लांट एक जटिल प्रक्रिया है। लिवर की खराबी और कैंसर से भारत में प्रत्येक वर्ष ढाई लाख से अधिक लोगों की मौत होती है, इनमें 40,000 मरीज बिहार के हैं।

प्रातिक्रिया दे

आपका ईमेल पता प्रकाशित नहीं किया जाएगा. आवश्यक फ़ील्ड चिह्नित हैं *