हाईकोर्ट ने नीतीश सरकार से पूछा, कोरोना से बचाव के लिए क्या है तैयारी, और मांगा तीसरी लहर की तैयारी का जिलावार ब्योरा

पटना हाईकोर्ट ने मंगलवार को कोरोना की तीसरी लहर की तैयारी को लेकर सरकार से सवाल किया है। सरकार से पूछा है कि तीसरी लहर से बचाव को लेकर क्या तैयारी की गई है? हाईकोर्ट ने मास्क और सोशल डिस्टेंसिंग का कड़ाई से पालन कराने का भी निर्देश दिया है। कोर्ट ने सरकार को वैक्सीनेशन और कोरोना से जुड़ी सही जानकारी नहीं देने पर फटकार भी लगाई है। पटना हाईकोर्ट ने राज्य में कोरोना महामारी पर सुनवाई करते हुए सरकार को दोबारा हलफनामा दायर करने के लिए 30 जुलाई तक का समय दिया है।

मुख्य न्यायाधीश संजय करोल व न्यायमूर्ति एस कुमार की खंडपीठ ने शिवानी कौशिक व अन्य की जनहित याचिकाओं पर सुनवाई के दौरान सरकार से सवाल किया और दोबारा हलफनामा दायर करने को कहा है। राज्य सरकार की तरफ से बताया गया कि 71 फीसदी लोगों का टीकाकरण कर दिया गया है।

कोर्ट का कहना था कि हलफनामा में यह स्पष्ट नहीं है कि 71 फीसदी में कितने को फर्स्ट डोज या कितने को सेकंड डोज दी गई है। कोर्ट को आधी जानकारी देने वाली सरकार वैक्सीनेशन के आंकड़ों पर पर्दा डालती है। मीडिया को भी अब स्वास्थ्य विभाग की तरफ से कोई जानकारी नहीं दी जाती है।
बिहार में कब कितना किसे वैक्सीन दी गई इसकी जानकारी स्वास्थ्य विभाग की तरफ से नहीं दी जाती है। जून में ही विभाग ने वैक्सीनेशन की जानकारी देना बंद कर दिया है।
कोर्ट ने राज्य सरकार व बिहटा स्थित ESIC के हलफनामों पर असंतोष जताया है। कोर्ट ने जानना चाहा कि अभी तक जो टीकाकरण किया गया है, उसमें कितनों को दोनों डोज दिए जा चुके हैं, यह नहीं बताया गया है। साथ ही राज्य में कितने कोविड पॉजिटिव मरीज हैं, इसकी भी पूरी जानकारी नहीं दी गई है। अभी कोरोना की जांच भी काफी कम हो रही है, तो ऐसे में पॉजिटिव मरीजों की वास्तविक संख्या कैसे प्राप्त की जा सकती है।


कोर्ट ने राज्य सरकार से जिलेवार ब्यौरा मांगा था कि प्रत्येक जिले में ऑक्सीजन समेत कितने बेड उपलब्ध हैं? कोर्ट ने राज्य सरकार को यह भी बताने को कहा था कि कोरोना महामारी के संभावित तीसरी लहर को नियंत्रित करने के लिए क्या कार्रवाई की जा रही है? राज्य के पास वैक्सीन पूरी है या केंद्र सरकार से मांगने की आवश्यकता है।

साथ ही कोर्ट ने राज्य सरकार को हिदायत दी है कि कोरोना की संभावित तीसरी लहर के मद्देनजर मास्क पहनने और सोशल डिस्टेंसिग का सख्ती से पालन करवाएं।

पिछली सुनवाई में हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को यह बताने को कहा था कि राज्य में वैक्सीनेशन देने की क्या स्थिति है। अभी राज्य में कोरोना के कितने पॉजिटिव मरीज हैं। अधिवक्ता विनय कुमार पांडेय ने बताया कि इन सभी मुद्दों पर राज्य सरकार को अगली सुनवाई में पूरा ब्यौरा पेश करने का निर्देश दिया गया था।

हाईकोर्ट ने पिछली सुनवाई में बिहटा स्थित ESIC मेडिकल कॉलेज व अस्पताल में डॉक्टर, नर्स, वार्ड बॉय, सिक्योरिटी गार्ड आदि के रिक्त पदों को भरने के लिए की गई कार्रवाई का ब्यौरा मांगा था। कोर्ट ने इस संबंध में राज्य सरकार को भी स्थिति स्पष्ट करने का निर्देश दिया था, लेकिन जो हलफनामा दायर किया गया है, उसे कोर्ट ने असंतोषजनक बताते हुए पुनः विस्तृत जानकारी हलफनामा दायर कर देने का निर्देश दिया।

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